प्रवेश-नियम

भोट- बौद्ध दर्शन / तिब्बती चिकित्सा विद्या / तिब्बती ज्योतिष विद्या

के पूर्वमध्यमा प्रथम वर्ष में प्रवेश पाने के लिए प्रवेश-नियम



  1.  विश्वविद्यालय के पूर्वमध्यमा प्रथम वर्ष में प्रवेश पानेवाले उम्मीदवार की शैक्षिक योग्यता  किसी भी मान्यता-प्राप्त विद्यालय से 8वीं कक्षा उत्तीर्ण तथा 8वीं कक्षा के दर्जे का तिब्बती भाषा का ज्ञान होना जरूरी है । उम्मीदवारों को अँग्रेजी अथवा हिंदी का 8वीं कक्षा तक का ज्ञान होना भी जरूरी है ।

  2. योग्य उम्मीदवारों को एक प्रवेश-परीक्षा उत्तीर्ण करना होगा । इस प्रवेश परीक्षा में दो लिखित प्रश्न पत्र होंगे:
    •          तिब्बती भाषा ।
    •          अँग्रेजी अथवा हिंदी (दोनों में से किसी एक भाषा का चयन करना होगा )।

     प्रत्येक प्रश्न पत्र 100 अंक का होगा तथा उसकी कालावधि 3 घंटे होगी । यह पुस्तिका में दर्शाए गए पाठ्यक्रम के अनुसार होगा ।


  3. उत्तीर्ण होने के लिए उम्मीदवार को प्रत्येक प्रश्न पत्र में कम से कम 35% अंक प्राप्त करना होगा ।

  4. जो उम्मीदवार तिब्बती में 75% या अधिक अंक प्राप्त करेगा वह अगर अँग्रेजी/हिंदी में अनुत्तीर्ण हो तो वह 5 अंक तक ग्रेस मार्क्स् का हक़दार होगा ।

  5. जो उम्मीदवार स्पष्ट रूप से प्रवेश परीक्षा उत्तीर्ण हुए हैं, केवल वे ही प्रवेश के हक़दार होंगे ।

  6. विश्वविद्यालय के नियमनुसार प्रत्येक सम्प्रदाय में 8 छात्रों की संख्या सुनिश्चित हैं, केवल बोन सम्प्रदाय में 5 छात्र प्रवेशकी संख्या निर्धारित की गई है ।

  7. चिकित्सा विद्या तथा ज्योतिष विषय में , प्रत्येक में 7 छात्रों को प्रवेश संख्या निर्धारित की गई है ।

  8. छात्राओं का प्रवेश छात्रावास में निवास-सुविधा की उपलब्धता पर निर्भर होगा ।

  9. प्रत्येक सम्प्रदाय में, चिकित्सा विद्या में तथा ज्योतिष विभाग में प्रवेश के लिए चयन केवल  गुणवत्ता के आधार पर होगा और यह प्रवेश परीक्षा में प्राप्त अंकों पर आधारित होगा ।

  10. अगर किसी सम्प्रदाय या चिकित्सा विद्या या ज्योतिष विभाग के नियत अंश में से कुछ सीटें रिक्त रह जाएँ तो वे किसी दूसरे संप्रदाय को या चिकित्सा/ज्योतिष विभाग को दी जायेगी और यह प्रवेश परीक्षा में उत्तीर्ण उम्मीदवारों की गुणवत्ता सूची में रहे क्रम  के अनुसार किया जाएगा ।

  11. प्रविष्ट छात्रों की कुल संख्या (शिष्यवृत्तिधारकेतर उम्मीदवारों को मिलाकर) किसी भी वर्ष में 51 से अधिक नहीं होगी ।

  12. अनुसूचित जाति/ जनजाति  के तथा विकलांग उम्मीदवारों का प्रवेश यूजीसी के मार्गदर्शक नियमों के अनुसार होगा ।

  13. प्रवेश के लिए भिक्षु, भिक्षुणियों तथा साधारण छात्रों को समान रूप से माना जायेगा तथा उनका प्रवेश प्रवेश-परीक्षा में प्रतिबिंबित उनकी गुणवत्ता मात्र पर निर्भर रहेगा । तथापि जो उम्मीदवार विश्वविद्यालय में भिक्षु या भिक्षुणी रूप में प्रविष्ट होगा, वह स्नातक होने तक भिक्षुवस्त्र का त्याग नहीं करेगा । जो छात्र उस समय से पहले भिक्षुवस्त्र का त्याग करेगा, उसे विश्वविद्यालय से बाहर निकाल दिया जाएगा।

  14. प्रविष्ट किये गये छात्रों का प्रवेश तात्कालिक समझा जाएगा और स्कूल लीविंग सर्टिफिकेट/ट्रॉन्सफर सर्टिफिकेट, कैरेक्टर सर्टिफिकेट, गुणपत्रिका आदि प्रवेशप्राप्त उम्मीदवारों की सूची का विमोचन होने के 15 दिन के अंदर प्रस्तुत करने पर ही वह पुष्ट समझा जायेगा । नियत समय के अंदर जरूरी सर्टिफिकेट/प्रलेख प्रस्तुत करने में असमर्थ उम्मीदवारों को संबद्ध संप्रदाय/विभाग के प्रमुख की सिफारिश के साथ एक आवेदन प्रस्तुत करना होगा । मामले की प्रामाणिकता का परीक्षण करने के बाद प्रवेश समिति संबंधित उम्मीदवार को प्रलेख प्रस्तुत करने के निर्धारित कालावधि के पश्चात और पन्द्रह दिन का अवधि दे सकती है । अगर उम्मीदवार इस बढ़ाई हुई कालावधि में भी प्रलेख प्रस्तुत न कर सकें तो उसका प्रवेश अवैध समझा जाएगा और क्रम में जो अगला उम्मीदवार होगा उसे प्रवेश दिया जायेगा ।

  15. जब तक विश्वविद्यालय के वैद्यक कर्मचारियों द्वारा उम्मीदवार को विश्वविद्यालय में अध्ययन करने की स्वस्थता प्रमाणित नहीं हो जायेगी, तब तक उसका प्रवेश तात्कालिक माना जाएगा ।

  16. अंतिम निर्णायक सूचना तथा प्रवेश प्राप्त उम्मीदवारों की नामावली कुलपति महोदय के शुभारम्भ भाषण के बाद वितरित की जाएगी ।